रामप्पा मंदिर
भारत की 39 वीं यूनेस्को विश्व विरासत
👉 यूरोपीय व्यापारी और यात्री मंदिर की सुंदरता से मंत्रमुग्ध थे और ऐसे ही एक यात्री ने उल्लेख किया था कि मंदिर दक्कन के मध्ययुगीन मंदिरों की आकाशगंगा में सबसे चमकीला तारा है ।👉 काकतीय धरोहर न्यास (केएचटी) के न्यासी एम पांडुरंगा राव ने कहा कि वे विश्व धरोहर स्थलों की सूची के लिए भारत के नामांकन में रामप्पा मंदिर को शामिल कराने के लिए 2010 से तेलंगाना राज्य पुरातत्व विभाग और एएसआई के साथ मिलकर इसका प्रस्ताव देने वाला एक डोजियर तैयार कर रहे थे।
👉 रामप्पा मंदिर का एक और नाम रामलिंगेश्वर मंदिर भी प्रसिद्ध है।
👉 यह शायद दुनिया का अकेला ऐसा मंदिर होगा जिसका नाम उसमें स्थित भगवान के नाम पर न होकर मंदिर बनाने वाले शिल्पकार ‘रामप्पा’ के नाम पर रखा गया।
👉 800 साल से अधिक पुराने Ramappa Mandir में कई अनोखे रोचक रहस्य छुपे हैं। जैसे कि ये मंदिर कई भूकंप आने के बावजूद आज भी वैसा ही कैसे खड़ा है जबकि उस काल के कितने ही मंदिर खंडहर हो चुके हैं।
👉 मंदिर में बनी स्त्री मूर्तियाँ आपको आश्चर्यचकित कर देंगी। काले ग्रेनाइट जैसे कठोर पत्थर से बने होने के बावजूद मूर्तियों में ऐसी गजब चमक, महीन काम और कलात्मकता अद्भुत है।
👉 मंदिर के प्रवेशद्वार पर एक बाँसुरी की कलाकृति बनी है जिसे हल्का सा ठोंकने पर सा-रे-गा-मा की आवाज निकलती है।





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